जाने क्यों आज, तेरे नाम पे रोना आया .......
"यादें करूँगा ,अपनी ताज़ा
दिल आपका बहलाऊँगा
इसी बहाने अपनी पसंद
आप को सुनवाऊंगा" ....
यादें हैं ....यादों का क्या !अब इस उम्र में तो यादें ही आएँगी न ...?
पर बहुत अच्छा लगता है इन यादों के याद आने से ....कुछ समय के
लिए ही सही...यह यादें ...याद दिला जाती है ....गुज़रे उन हसीन पलों की ..
जब ऐसी ग़ज़ले कभी हमने भी गुनगुनाई थी ..भले ही अच्छे मूड में न सही ..
अब अच्छे मूड में यह गाने कौन गाना पसंद करेगा भला .......
पर यह भी सच है ...की हर उस शक्स को जो इस मंजिल पर चलेगा ...
अपनी मंजिल पाने तक किसी न किसी पढाव पर ऐसे,गीतों,ग़ज़लो को
गुनगुनाना ही पड़ेगा...क्यों ?
तो आप भी सुनिए ....बेग़म अख्तर की गाई यह ग़ज़ल ....अच्छी
लगेगी ....चाहे आपने कभी गुनगुनाई हो या नही .......
वाह! वाह! यार चाचू.
ReplyDeleteसुनकर दिल मग्न हो गया है.
आभार.
बेहतरीन ग़ज़ल है जनाब अपने कालेज के समय भी इसे गुनगुनाया करते थे और आज भी जब मूड हुआ गुनगुना लेते हैं...सदा बहार ग़ज़ल है ये तो...
ReplyDeleteऐसी ग़ज़लें एक विशेष मूड में ही अच्छी लगती हैं । कॉलेज के दिनों में ऐसा मूड बनना ज्यादा आसान होता था । बाद में तो आदमी दुनियादारी में ऐसा फंस जाता है कि रोने का भी वक्त नहीं मिलता ।
ReplyDeleteaaj kuch baat hai jo sham se rona aaya .................mann khush ho gaya gazal sunker
ReplyDeleteवाह....!! बहुत उम्दा... आनंद आ गया सुनकर सर...
ReplyDeleteसादर आभार....
अच्छा लगा सुनना!
ReplyDeleteबहुत उम्दा
ReplyDeleteआभार
Bahut hi Badhiya...Abhar
ReplyDeleteबढ़िया गज़ल सुनवाने के लिए धन्यवाद
ReplyDeleteबहुत ही कर्णप्रिय
ReplyDeleteमज़ा आ गया. ना जाने कितनी बार यह गज़ल सुनी है परन्तु हर बार ऐसा लगता है कि पहली बार सुन रहे हैं. सुरों का अद्भुत संगम. बढ़िया गज़ल सुनवाने के लिये धन्यबाद.
ReplyDeleteबहुत ही उम्दा ... ठुमरी अंदाज़ की गायकी बेगम अख्तर का मुकाम कोई भी नहीं पा सका है आज तक ... लाजवाब है ये गज़ल भी ..
ReplyDeletevaah bahut umdaa.aabhar.
ReplyDeleteयह आडियो कैसेट आज भी कलेक्शन में है.सुना तो मन मस्त हो गया.
ReplyDeleteमुकेश के गैर फिल्मी गीतों गज़लों का भी कलेक्शन है. क्या आपने मुकेश का गैर फिल्मी सुना है ? बोल हैं
जीयेंगे मगर मुस्कुरा ना सकेंगे, के अब जिंदगी में मोहब्बत नहीं है
लबों पे तराने अब आ ना सकेंगे, के अब जिंदगी में मोहब्बत नहीं हैं.
यह मुझे बेहद पसंद है.अक्सर इसे गुनगुनाया करता हूँ.ब्लॉग में डालने की टेक्निक नहीं पता वरना आपको जरूर सुनाता.